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बलौदा बाजार में सूदखोरी और भयादोहन कांड ने मचाई सनसनी, FIR दर्ज — पत्रकारों और प्रेस क्लब की निर्णायक भूमिका

क्राइम 28 September 2025 (236)

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प्रभात न्यूज़ 24: 

 बलौदा बाजार में सूदखोरी और भयादोहन कांड ने मचाई सनसनी, FIR दर्ज — पत्रकारों और प्रेस क्लब की निर्णायक भूमिका


बलौदा बाजार।

जिले का बहुचर्चित सूदखोरी और भयादोहन कांड आखिरकार पुलिस कार्रवाई के दायरे में आ गया है। लंबे समय से शहर में सक्रिय अपराधी प्रवृत्ति के लोग जरूरतमंदों को कर्ज के नाम पर ब्लैंक चेक और स्टांप पेपर पर हस्ताक्षर करवाकर फंसा रहे थे। समय पर ब्याज न मिलने की स्थिति में मनमाने ढंग से ब्याज दर बढ़ाकर वसूली की जाती थी। इतना ही नहीं, विरोध करने वालों को ब्लैंक चेक में मनचाही राशि भरकर और स्टांप पर लिखापढ़ी कर कानूनी झमेले में फंसाने की धमकी दी जाती थी।


प्रार्थी की आपबीती और प्रेस क्लब की पहल


इस मामले का खुलासा तब हुआ जब पीड़ित हेमंत कन्नौजे अपनी आपबीती लेकर बलौदा बाजार प्रेस क्लब पहुंचे। प्रेस क्लब अध्यक्ष नरेश गनसनी और अन्य पत्रकारों ने मामले की गंभीरता को समझा और इसे जनहित का विषय मानते हुए न केवल समाचार पत्रों के माध्यम से उजागर किया, बल्कि प्रशासन को भी ज्ञापन सौंपा। यह ज्ञापन कलेक्टर, पुलिस अधीक्षक और सिटी कोतवाली थाना प्रभारी को सौंपा गया।


अपराधियों के षड्यंत्र और पत्रकारों पर दबाव


मामले के उजागर होते ही अपराधियों ने सबसे पहले समाचार को दबाने की कोशिश की। सूत्रों के अनुसार उन्होंने पत्रकारों को खरीदने तक का प्रयास किया, लेकिन असफल रहने पर पत्रकारों के खिलाफ दुष्प्रचार फैलाने की कोशिश की गई। जब दबाव बढ़ा, तो पत्रकारों ने इस संबंध में भी प्रशासन को आवेदन देकर न्याय की मांग की।


इसी बीच अपराधियों ने प्रार्थी हेमंत कन्नौजे को भी कभी लालच तो कभी धमकी देकर चुप कराने की भरपूर कोशिश की। परंतु लगातार सामने आते नए मोड़ों और अपराधियों के बढ़ते हौसले को देखते हुए प्रेस क्लब ने दोबारा प्रशासन को ज्ञापन सौंपकर धरना देने की चेतावनी दी।


प्रेस क्लब का स्पष्ट संदेश


प्रेस क्लब ने साफ कहा कि पत्रकारिता सिर्फ कलम की लड़ाई नहीं है, बल्कि जरूरत पड़ने पर सड़क पर उतरकर भी जनता की आवाज बनकर शासन-प्रशासन तक सच पहुंचाया जाएगा। प्रेस क्लब का यह रुख आम लोगों में भरोसा जगाने वाला साबित हुआ।


FIR दर्ज, पुलिस जांच तेज


लगातार दबाव और जनहित की आवाज को देखते हुए प्रशासन को आखिरकार झुकना पड़ा और इस चर्चित मामले में F.I.R दर्ज की गई। पुलिस ने विवेचना शुरू कर दी है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, इस नेटवर्क में और भी कई नाम सामने आ सकते हैं जिन पर कड़ी कार्रवाई की संभावना है।


फिलहाल पुलिस की जांच जारी है और जल्द ही गिरफ्तारी होने की उम्मीद जताई जा रही है। इस कार्रवाई से आम जनता और पीड़ित परिवारों में एक उम्मीद जगी है कि अब न्याय की राह आसान होगी।


निष्कर्ष


यह मामला न केवल बलौदा बाजार बल्कि पूरे प्रदेश के लिए एक मिसाल है कि जब समाज, पत्रकार और प्रेस क्लब एकजुट होकर अन्याय के खिलाफ खड़े होते हैं, तो प्रशासन को भी कठोर कदम उठाने पड़ते हैं। इस प्रकरण ने यह साबित किया है कि सच की लड़ाई कठिन जरूर होती है, लेकिन नामुमकिन नहीं।


हम इस पूरे मामले पर पैनी नज़र बनाए हुए हैं। जैसे ही कोई नई जानकारी सामने आती है, हम उसे जनता तक पहुंचाएंगे।




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